कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष तिवारी ने पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के ‘भैया’ वाले बयान की पृष्ठभूमि में शुक्रवार को कहा कि राज्य के धर्मनिरपेक्ष ताने-बाने में ऐसी सोच के लिए कोई जगह नहीं होनी चाहिए।
पंजाब के आनंदपुर साहिब से लोकसभा सदस्य ने कहा, ‘‘भैया विवाद अमेरिका में अश्वेत मुद्दे की तरह है। यह प्रवासियों के खिलाफ दुर्भाग्यपूर्ण ढंग से व्यवस्थित और संस्थागत सामाजिक भेदभाव को दर्शाता है।’’
उन्होंने मां के सिख होने और पिता के हिंदू पंजाबी होने का उल्लेख करते हुए कहा कि उनके उपनाम (तिवारी) के चलते पीठ पीछे यह बोला गया कि ‘यह भैया यहां कहां आ गया।’
तिवारी ने कहा, ‘‘पंजाब के धर्मनिरपेक्ष तानेबाने में ऐसी सोच के लिए कोई जगह नहीं होनी चाहिए।’’
चन्नी ने मंगलवार को कांग्रेस के एक रोड शो के दौरान लोगों से उत्तर प्रदेश, बिहार और दिल्ली के ‘भैया’ को पंजाब में नहीं घुसने देने की अपील करके एक विवाद खड़ा दिया था। उनकी यह टिप्पणी संभवत: आम आदमी पार्टी के नेताओं पर लक्षित थी, लेकिन ‘भैया’ को उत्तर प्रदेश और बिहार के उन प्रवासियों के बीच अपमानजनक शब्द माना जाता है, जो पंजाब में काम करते हैं।
विवाद बढने के बाद चन्नी ने बृहस्पतिवार को सफाई देते हुए कहा कि उनकी टिप्पणी को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया है। उन्होंने पंजाब के विकास में प्रवासियों के योगदान के लिए उनकी सराहना भी की।
कांग्रेस नेता ने कहा कि उनका इशारा अरविंद केजरीवाल, दुर्गेश पाठक और संजय सिंह जैसे ‘आप’ नेताओं की ओर था, जिन पर उन्होंने आरोप लगाया था कि वे राज्य में बाहर से अशांति पैदा करने आते हैं।