- हमारी टीम ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ फाइनल में डरी हुई नहीं थी
- जब भी पारी को रफ्तार देने की कोशिश की, हमने विकेट गंवा दिया
- भारत के चीफ कोच के रूप में भविष्य के बारे में सोचने के लिए अभी वक्त चाहिए
- मैने टीम के लड़कों से कल फिर सूरज निकेलगा
सत्येन्द्र पाल सिंह
नई दिल्ली : भारत की ऑस्ट्रेलिया के हाथों रविवार को आईसीसी वन डे क्रिकेट विश्व कप फाइनल में छह विकेट से हार के बाद टीम के चीफ कोच राहुल द्रविड़ ने अपनी आंखों के आंसुओं को रोकने की पुरजोर कोशिश लेकिन वे बह निकले।ï द्रविड़ ने भारत की फाइनल में हार के बाद माना कि उनकी टीम एक बेहतर टीम से हारी। द्रविड़ से जब यह पूछा गया कि उनकी टीम सूखी पिच पर 240 रन पर क्यों सिमट तो उन्होंने कहा, ‘जब भी फाइनल में हमने पारी को संभाल उसे रफ्तार देने की कोशिश तो हमने विकेट गंवा दिया। इसीलिए हमारी पारी रफ्तार नहीं पकड़ सकी। मैं इस बात से इत्तफाक नहीं रखता कि हमारी टीम फाइनल में रविवार को ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ डरी हुई थी। फाइनल में पहले पॉवरप्ले के बाद हमारा स्कोर ं दो विकेट पर 80 रन था। बदकिस्मती से चाहे वह एडिलेड में टी-20 विश्व कप का सेमीफाइनल हो, ओवल में वल्र्ड टेस्ट चैंपियनशिप का फाइनल हो या फिर रविवार वन डे क्रिकेट विश्व कप 2023 का फाइनल हम अपनी क्षमता के मुताबिक नहीं खेले और खेल में ऐसा मुमकिन है।’
राहुल द्रविड़ का भारत के चीफ कोच के रूप में कार्यकाल रविवार को वन डे क्रिकेट विश्व कप फाइनल पूरा होने के साथ खत्म हो गया। जब द्रविड़ से भारत के चीफ कोच के रूप में भविष्य की बाबत पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘ ईमानदारी से कहूं इस बाबत मंने अभी विचार नहीं किया है। मुझे भारत के चीफ कोच के रूप में अपने भविष्य की बाबत सोचने के लिए अभी और वक्त चाहिए। फाइनल में ऑस्ट्रेलिया के हाथों हार के बाद रविवार को ड्रेसिंग रूम में बहुत मायूसी का माहौल था लेकिन मेरा अपनी टीम के खिलाडिय़ों से बस यही कहा कि कल फिर सूरज निकलेगा। खेल आपको यही सब सिखाता है। आप बहुत उतार चढ़ावों को अनुभव करते हैं और आपको इन दोनों को स्वीकार करने के लिए तैयार रहना चाहिए।