ओम प्रकाश उनियाल
“उत्तराखण्ड वैश्विक निवेशक शिखर सम्मेलन 2023” के उद्घाटन के मौके पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जब अपने संबोधन में यह कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में आकर मैं धन्य हो जाता हूं, तो उत्तराखंडियों का मन स्वाभाविक है कि फूला नहीं समाया होगा। प्रधानमंत्री के ये शब्द उत्तराखंड के लिए बहुत बड़ी सौगात मानी जा सकती है। इस देवभूमि के प्रति उनका लगाव, उनकी आस्था और नीतियों से साफ पता चलता है कि प्रदेश को निरंतर विकास के पथ पर ले जाने की उनकी जो सोच व सक्रियता है उससे उत्तराखंडवासी खासे प्रभावित होते आ रहे हैं। केवल उत्तराखंड ही नहीं अपितु पूरा देश और विश्व प्रधानमंत्री मोदी का कायल हो चुका है। प्रधानमंत्री को बाबा केदार का ऐसा आशीर्वाद है कि बार-बार वे उत्तराखंड की देवभूमि का बुलावा जरूर स्वीकारते हैं। राज्य के मुख्यमंत्री के सफल प्रयासों व प्रधानमंत्री के कुशल नेतृत्व में राज्य में जिस प्रकार से निवेशकर्ता अपनी दिलचस्पी दिखा रहे हैं उससे यह उम्मीद बंध गयी है कि राज्य में कई नयी संभावनाओं के द्वार खुलने जा रहे हैं।
सम्मेलन में प्रधानमंत्री ने मौके पर प्रदर्शनी का अवलोकन किया और ग्राउंड ब्रेकिंग वॉल का अनावरण भी किया। प्रधानमंत्री ने देवभूमि उत्तराखण्ड में होने पर प्रसन्नता व्यक्त की और सदी के तीसरे दशक को उत्तराखण्ड का दशक होने के बारे में अपने कथन को याद किया। उन्होंने कहा कि यह संतोष की बात है कि यह कथन जमीन पर साकार हो रहा है। पीएम ने सिलक्यारा में श्रमिकों के सुरक्षित रेस्क्यू के लिए राज्य सरकार की सराहना की। उन्होंने उत्तराखण्ड के साथ अपने घनिष्ठता को दोहराते हुए कहा कि उत्तराखण्ड एक ऐसा राज्य है जहां दिव्यता और विकास एक साथ महसूस होता है। इस भावना को और विस्तार देने के लिए पीएम ने एक कविता सुनाई।
प्रधानमंत्री ने डबल इंजन सरकार के लाभों को दोहराया जिसके दोहरे प्रयास हर जगह दिखाई दे रहे हैं। राज्य सरकार जहां स्थानीय वास्तविकताओं को ध्यान में रखते हुए काम कर रही है, वहीं भारत सरकार उत्तराखण्ड में अभूतपूर्व निवेश कर रही है।
प्रधानमंत्री ने ग्रामीण इलाकों से चारधाम तक जाने के काम का जिक्र करते हुए कहा कि वह दिन दूर नहीं जब दिल्ली-देहरादून के बीच की दूरी ढाई घंटे की रह जायेगी। देहरादून और पंतनगर हवाई अड्डे के विस्तार से हवाई कनेक्टिविटी मजबूत होगी। प्रदेश में हेली-टैक्सी सेवाओं का विस्तार किया जा रहा है।