- तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी, मुरादाबाद के फैकल्टी ऑफ इंजीनियरिंग के भौतिक विज्ञान विभाग में मैटेरियल्स एंड डिवाइसेज पर ब्लेंडेड मोड में 28 और 29 को चौथी कॉन्फ्रेंस- एनसीएमडी-2023
रविवार दिल्ली नेटवर्क
- एसएसपीएल, डीआरडीओ की निदेशक डॉ. मीना मिश्रा बतौर मुख्य अतिथि करेंगी शिरकत
- लाम रिसर्च इंडिया और एडवांस्ड सेंसर रिसर्च ऑर्गेनाइजेशन के प्रतिनिधि भी रहेंगे मौजूद
- कॉन्फ्रेंस में होंगी 3 प्लेनेटरी और 17 इनवाइटेड टॉक, 100 से अधिक शोधकर्ता प्रेजेंट करेंगे रिसर्च पेपर्स
- स्वीकृत पत्र स्कोपस अनुक्रमित जर्नल- मैक्रोमोलेक्यूलर सिम्पोसिया में होंगे प्रकाशित राष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस
- एनसीएमडी-2023 में करीब आधा दर्जन से अधिक सूबों के शोधार्थी होंगे शामिल
तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी, मुरादाबाद के फैकल्टी ऑफ इंजीनियरिंग और गवर्नमेंट रिसर्च फंडिंग एजेंसी साइंस एंड इंजीनियरिंग रिसर्च बोर्ड के सहयोग से भौतिक विज्ञान विभाग में मैटेरियल्स एंड डिवाइसेज पर चौथी राष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस एनसीएमडी 28-29 दिसंबर 2023 को ब्लेंडेड मोड में होगी। एसएसपीएल, डीआरडीओ की निदेशक डॉ. मीना मिश्रा बतौर मुख्य अतिथि एनसीएमडी-2023 कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन करेंगी। इस मौके पर लाम रिसर्च इंडिया और एडवांस्ड सेंसर रिसर्च ऑर्गेनाइजेशन, एमपी के प्रतिनिधियों की भी मौजूदगी रहेगी। कॉन्फ्रेंस में 3 प्लेनेटरी टॉक और 17 इनवाइटेड टॉक होंगी। साथ ही 100 से अधिक शोधकर्ता विभिन्न विषयों पर ओरल और पोस्टर्स के जरिए अपने शोध निष्कर्ष प्रस्तुत करेंगे। स्वीकृत पत्र स्कोपस अनुक्रमित जर्नल (मैक्रोमोलेक्यूलर सिम्पोसिया) में प्रकाशित किए जाएंगे। एनसीएमडी-2023 में भारत के विभिन्न राज्यों जैसे- यूपी, यूके, नई दिल्ली, पंजाब, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, कर्नाटक, राजस्थान आदि के प्रतिभागी भी शिरकत करेंगे।
एनसीएमडी-2023 कॉन्फ्रेंस का उद्देश्य मैटेरियल्स एंड डिवाइसेज के क्षेत्र में अपने शोध योगदान को प्रस्तुत करने के लिए प्रोफेसरों, वैज्ञानिकों, इंजीनियरों, शोधकर्ताओं, तकनीशियनों और औद्योगिक प्रतिनिधियों को साझा मंच प्रदान करना है। फैकल्टी ऑफ इंजीनियरिंग के डायरेक्टर एवं कॉन्फ्रेंस जनरल चेयर प्रो. राकेश कुमार द्विवेदी ने बताया, यह कॉन्फ्रेंस ज्ञान को साझा करने, अपने संबंधित शोध क्षेत्र में नए शोध का पता लगाने और सीखने के लिए एक प्रभावशाली मंच प्रदान करेगी। कॉन्फ्रेंस में शोध पत्र और पोस्टर प्रेजेंटेशन के साथ-साथ वक्ताओं की ओर से स्मार्ट और विदेशी सामग्रियों और उपकरणों पर प्रौद्योगिकी की स्थिति पर ध्यान केंद्रित करते हुए अपने-अपने विचार प्रस्तुत करेंगे।
एनसीएमडी कॉन्फ्रेंस के कन्वीर्न्स डॉ. दिप्तोनील बनर्जी और डॉ अमित कुमार शर्मा ने बताया कि आधुनिक तकनीक और कार्य क्षमता को बेहतर बनाने के लिए नए पदार्थों की खोज भी जरूरी है। आज के युग में जिन पदार्थों का प्रयोग डिवाइस निर्माण में हो रहा है, उन डिवाइसेज की कार्य क्षमता को किस तरह बढ़ाया जा सकता है, इस पर विभिन्न वैज्ञानिक, शोधार्थी और शिक्षाविद अपने-अपने विचार साझा करेंगे। अनुसंधान समस्याओं में आने वाली चुनौतियों और मैटेरियल्स के क्षेत्र में शीर्ष शिक्षाविदों और वैज्ञानिकों के साथ नए सहयोगियों की संभावनाओं का पता लगाने और उपकरणों के रूप में उनके अनुप्रयोगों का पता लगाना भी इस सम्मेलन का विषय है। यह कॉन्फ्रेंस मैटेरियल साइंस के क्षेत्र में विभिन्न मुद्दों और चुनौतियों जैसे अर्धचालक, सिरेमिक, कंपोजिट, पॉलिमर, बायो मैटेरियल्स, सेंसर्स, नैनोमैटेरियल्स आदि और उनके उपकरण अनुप्रयोगों को उजागर करने का एक प्रयास है। कॉन्फ्रेंस सेक्रेटरी डॉ. विष्णु प्रसाद श्रीवास्तव ने बताया कि इस कॉन्फ्रेंस में देश के अग्रणी संस्थानों जैसे आईआईटी दिल्ली, आईआईटी हैदराबाद, आईआईएससी बेंगलुरु, एसएन बोस नेशनल सेंटर फॉर बेसिक साइंसेज कोलकाता, जादवपुर यूनिवर्सिटी कोलकाता, अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी उत्तर प्रदेश, यूनिवर्सिटी ऑफ़ हैदराबाद, लखनऊ यूनिवर्सिटी, सीसीएस यूनिवर्सिटी, गुरुकुल कांगड़ी यूनिवर्सिटी, इलाहाबाद यूनिवर्सिटी, काजी नज़रुल यूनिवर्सिटी, सेंटर फॉर एडवांस्ड स्टडीज लखनऊ और बरेली कॉलेज के प्रोफेसर्स और शोधार्थी अपनी रिसर्च उपलब्धियां को प्रस्तुत करेंगे।