रेड मॉल मामले में जीडीए को मिली ऐतिहासिक कानूनी जीत, मिला बकाया वसूली का अधिकार

GDA gets historic legal victory in Red Mall case, gets right to recover dues

मोहित त्यागी

  • गाजियाबाद विकास प्राधिकरण ने यह साबित किया है कि वह क्षेत्र के विकास के साथ-साथ विवादित मामलों को निष्पक्षता और प्रभावी तरीके से सुलझाने में भी सक्षम है। यह सफलता प्राधिकरण की प्रतिबद्धता और कुशलता का प्रमाण है – अतुल वत्स, (आईएएस), उपाध्यक्ष, जीडीए
  • देश का ऐसा पहला वसूली का आदेश राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण ‘एनसीएलटी’ द्वारा जीडीए के हक में जारी किया गया
  • इस निर्णय से उपाध्यक्ष अतुल वत्स की गाजियाबाद विकास प्राधिकरण की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने की मुहिम पकड़ेगी रफ्तार

गाजियाबाद : गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) ने नया बस अड्डा के पास गाजियाबाद के रेड मॉल से जुड़े लंबे समय से लंबित विवाद में ऐतिहासिक जीत दर्ज की है। यह सफलता जीडीए के उपाध्यक्ष अतुल वत्स (आईएएस) के नेतृत्व और अधिकारियों के सामुहिक अथक प्रयासों का परिणाम है।

यहां आपको बता दें कि रेड मॉल से जुड़ा मामला जो कि ‘राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण’ (एनसीएलटी) नई दिल्ली में लंबे समय से चल रहा था, जिसकी केस संख्या – IA-3686/2022 IN IB Company petition No.(IB)-652 (PB)/2019) के अंतर्गत जीडीए की विधिक टीम ने अपने पक्ष को मजबूती के साथ ‘एनसीएलटी’ में रखते हुए, इस वित्तीय विवाद को सुलझाते हुए गाजियाबाद विकास प्राधिकरण को ‘वित्तीय ऋणदाता’ (फाइनेंशियल क्रेडिटर) के रूप में मान्यता दिलाई। यह निर्णय 22 जनवरी 2025 को जीडीए के पक्ष में ‘राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण’ (एनसीएलटी) नई दिल्ली के द्वारा सुनाया गया।

यहां आपको बता दें कि गाजियाबाद विकास प्राधिकरण ने विवादित संपत्ति (खसरा संख्या 352, 353, 354, 355, 358, 371, 372) के स्वामित्व, भुगतान और परियोजना निर्माण से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर मजबूती से अपना पक्ष रखा। जिसमें ‘एनसीएलटी’ मे प्रत्येक सुनवाई पर प्राधिकरण से उपाध्यक्ष अतुल वत्स के निर्देशन मे अधिकारियों द्वारा पूरी तत्परता के साथ प्रतिभाग किया गया और केस से जुड़े हुए हर पहलू पर बारीकी से नज़र रखते हुए केस की प्रगति पर निरंतर निगरानी रखी गयी और उस पर उपाध्यक्ष अतुल वत्स से समय-समय पर चर्चा करते हुए आगे की कारगर रणनीति तय की गयी। इस केस में जीत के साथ ही गाजियाबाद विकास प्राधिकरण को ₹ 2,17,18,66,407 (दो सौ सत्रह करोड़ अट्ठारह लाख) की धनराशि की वसूली का अधिकार मिल गया है, जो धनराशि रेड मॉल पर 28 फरवरी 2022 तक बकाया थी, जिस दिन ‘राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण’ (एनसीएलटी) नई दिल्ली में क्लेम किया गया था। इस निर्णय को दूरगामी दृष्टिकोण से देखें तो जीडीए उपाध्यक्ष अतुल वत्स ने प्राधिकरण की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने की जो मुहिम चला रखी है, यह निर्णय उसमें बहुत बड़ा सहयोग करेगा।