रविवार दिल्ली नेटवर्क
लखनऊ : भीषण गर्मी के चलते बिजली की बढ़ी मांग को देखते हुए योगी सरकार ने एक मई से लगभग दो हजार मेगावाट अतिरिक्त बिजली का इंतजाम किया है। सिक्किम एवं हिमाचल प्रदेश से 400 मेगावाट हाइड्रो पावर जुटाने के अलावा बैंकिंग ( पूर्व में दी गई बिजली के बदले अब बिजली लेने की व्यवस्था) की 325 मेगावाट विद्युत मध्य प्रदेश से और लगभग 283 मेगावाट बिजली राजस्थान से मिलने की संभावना है। इसी तरह बिडिंग के जरिए भी 430 से 950 मेगावाट बिजली की व्यवस्था की जा रही है। प्रदेश में केंद्रीय सेक्टर से 332 मेगावाट, राज्य सेक्टर से 118 मेगावाट तथा अन्य श्रोतों से 331 मेगावाट की उपलब्धता 29 अप्रैल से बढ़ी है।
भीषण गर्मी के कारण प्रदेश में बिजली की मांग बेतहाशा बढ़ी है। वर्तमान में प्रदेश की मांग लगभग साढ़े बाइस हजार मेगावाट तक पहुंच गई है। बावजूद इसके उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन प्रदेश में बिजली आपूर्ति को सामान्य रखने के लिए युद्धस्तर पर प्रयास कर रहा है। इस बढ़ी हुई मांग को देखते हुए पावर कारपोरेशन रिकार्ड विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित कर रहा है।
इसके लिए बिजली उत्पादन की जो इकाइयां तकनीकी या किसी अन्य कारणों से बन्द हैं, उन्हें भी शीघ्र चालू करने का प्रयास किया जा रहा है। हरदुआगंज एवं बारा की बन्द इकाइयों को ठीक कर पुनः चालू किया गया है। बिजली की निर्बाध आपूर्ति के लिए प्रीवेन्टिम मेनटेनेन्स एवं क्षमता वृद्धि का कार्य तेजी से किया जा रहा है। साथ ही बिजली आपूर्ति की गहन मॉनीटरिंग की जा रही है। सभी वितरण निगमों में 24 घंटे कन्ट्रोल रूम कार्यरत हैं।
उपभोक्ताओं को बेहतर सुविधा देने के लिए टोल फ्री नम्बर 1912 की लगातार मॉनीटरिंग की जा रही है। स्थानीय खराबी को कम से कम समय में ठीक कराने की कोशिश की जा रही है। अप्रैल माह में 1912 टोल फ्री नम्बर पर पूरे प्रदेश से 17000 शिकायतें मिलीं, जिसमें 16418 का निस्तारण कर दिया गया है। इसी तरह 180000 शिकायतें बिजली आपूर्ति से संबंधित प्राप्त हुई, इसमें भी 177838 का निस्तारण कर दिया गया।