रविवार दिल्ली नेटवर्क
नई दिल्ली।पूर्व तट रेलवे के एक तत्कालीन महाप्रबंधक पर नियमों के विरुद्ध एक तकनीकी सहायक, एन.एफ रेलवे, गुवाहाटी की पदोन्नति एवं नियुक्ति के संबंध में अनियमितता बरतने का आरोप लगा है।
आरोप है कि रेल्वे के पूर्व महाप्रबंधक द्वारा ग्रुप सी कर्मचारी को ग्रुप बी अधिकारी के रूप में उनके व्यक्तिगत लाभ के लिए अनधिकृत रूप से पदोन्नति प्रदान कर अनियमितता की गई ।
महाप्रबंधक ने अपने चहेते एक कर्मचारी को न केवल ग्रुप ‘सी’ के कर्मचारी से ग्रुप ‘बी’ ऑफिसर के पद पर पदोन्नत किया, बल्कि रिकॉर्ड में पिछली तारीख में ड्यूटी दिलवा कर दिल्ली में नियमित पोस्टिंग भी दी गई,जबकि रेल मंत्रालय के दिशा-निर्देशों में यह स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है कि एक महाप्रबंधक अपने क्षेत्राधिकार में मुख्यालय के अंदर और बाहर (दिल्ली सहित) किसी भी स्थान पर कुलदो प्रोटोकॉल अधिकारियों को ही तैनात कर सकता है।
साथ ही, रेल मंत्रालय के नियमों में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है कि पूर्व तट रेलवे सहित आठ क्षेत्रों में वे प्रोटोकॉल अधिकारी जो 14 नवम्बर 2019 से पहले तदर्थ आधार पर तैनात हैं, उन्हें एक बार ही नियमित किया जा सकता है,लेकिन महाप्रबंधक, ईस्ट कोस्ट रेलवे ने इन आदेशों की अवहेलना करते हुए एक तीसरा पद सृजित कर अपने चहेते कर्मचारी को नौकरी पर लगाया गया ।
हालाँकि इस अतिरिक्त तीसरे पद के लिए पीसीपीओ ईसीओआर ने अपने पत्र 12 मई 2020 के माध्यम से मंत्रालय को सूचित किया और तीसरे अतिरिक्त पद के लिए सक्षम अनुमति मांगी थी लेकिन मंत्रालय ने अपने पत्र 26 मई 2020 द्वारा नियमानुसार तीसरे अतिरिक्त पद सृजित करने के लिए स्पष्ट रूप से मना कर दिया।
इस मामले में महाप्रबंधक पर अपने पद का दुरूपयोग करते हुए मंत्रालय के निर्देशों,दिशा-निर्देशों और आदेशों का अतिक्रमण करते हुए समूह-सी कर्मचारी को समूह-बी अधिकारी में पदोन्नत कर अनियमितता का आरोप है । साथ ही यह आरोप भी है कि महाप्रबंधक,पूर्वी तट रेलवे के निर्देशों पर उप.मुख्य यांत्रिक अभियंता सह सचिव पीसीएमई और सहायक व्यक्तिगत अधिकारी, एन.एफ. रेलवे ने उनके चहेते कर्मचारी को पिछली तारीख 13,नवम्बर 2019 (दोपहर) में सहायक (यांत्रिक),एन.एफ. रेलवे को पत्र जारी किया, जबकि उन्होंने अपने एन.एफ. विभाग रेलवे, गुवाहाटी में 18 नवम्बर 2019 (दोपहर) तक काम किया।
आरोप है कि यह अनियमितता जैसे ही महाप्रबंधक, एन.एफ. रेलवे के संज्ञान में आई वह सप्ताहांत यानि 23 नवम्बर 2019 (शनिवार) को अपने कार्यालय पहुंचे और सभी आदेशों को खारिज करते हुए महाप्रबंधक, पूर्वीतट रेलवे और उनके चेहेते कर्मचारी को पत्र के माध्यम से सूचित किया लेकिन उन्होंने महाप्रबंधक, एनएफरेलवे के आदेशों का पालन नहीं किया है ।
बताया गया कि महाप्रबंधक के चहेते कर्मचारी ने 14 नवम्बर2019 से ईस्ट कोस्ट रेलवे, भुवनेश्वर में अपनी नई ज़िम्मेदारी सम्भालने का उल्लेख किया, लेकिन उन्होंने वास्तव में गुवाहाटी से 18 नवम्बर 2019 तक काम किया।
इस बात का प्रमाण उनके द्वारा गुवाहाटी से भुवनेश्वर के लिए 19 नवम्बर 2019 को इंडिगो की 6ई73 फ़्लाइट अपने बैंक डेबिट/क्रेडिट कार्ड से एक उड़ान टिकट (पीएनआर JDBLHY) बुक किया बताया जाता है। साथ ही उन्होंने इस उड़ान द्वारा गुवाहाटी से 12:29 बजे प्रस्थान कर उसी दिन दोपहर 14:28 बजे भुवनेश्वर पहुंचना बताया है । इस प्रकार जब वे 14 नवम्बर 2019 से भुवनेश्वर में नियमित आधार पर तैनात और कार्यरत थे, तो 18 नवम्बर 2019 और 19 नवम्बर 2019 को गुवाहाटी में उनकी उपस्थिति कैसे दी यह संदिग्ध है।बोर्डिंग पास के साथ उनके यात्रा कार्यक्रम इसे प्रमाणित करते है।
बताया गया कि तत्कालीन महाप्रबंधक, पूर्व तट पर यह आरोप भी है कि उन्होंने अपने चहेते को न केवल अपने पद का दुरूपयोग कर नियुक्त किया वरन महाप्रबंधक, उत्तर रेलवे ने उन्हें नियमित करने से पहले ही “अधिकारी रेलवे क्वार्टर” का आवंटित भी कर दिया, और तब से ही वे उस आवंटित रेलवे क्वार्टर में रह रहे हैं।
यह भी बताया गया है कि उस महाप्रबंधक ने अपने चहेते को अपनी सेवानिवृत्ति 31 अक्टूबर 2021 से ठीक पहले को 29 अक्टूबर 2021 को नियमित कर उपकृत किया।
रेल मन्त्रालय से इन तथ्यों एवं परिस्थितियों को दृष्टिगत रखते हुए इस मामले की निष्पक्ष जांच करने के आदेश जारी करने का आग्रह किया गया है ताकि सभी दोषियों के विरुद्ध अनियमिताओं सम्बन्धी कार्यवाही की जा सके।