रविवार दिल्ली नेटवर्क
बालाघाट : बालाघाट में वैनगंगा नदी दिखा रही रौद्र रूप, निचले इलाकों के लिए प्रशासन ने जारी किया अलर्ट, जिले का कई स्थानों से संपर्क टूटा, तीन दिनों से लगातार हो रही बारिश, कलेक्टर ने स्कूलों में अवकाश किया घोषित, बालाघाट में बाढ़ से बिगड़े हालात, किसानों की फसल डूबी, खाली हो रहे मकान, ग्रामीणों का हो रहा रेस्क्यू बालाघाट जिले में तीन दिनों से लगातार हो रही तेज बारिश के अलावा संजय सरोवर बाँध से पानी छोड़ने के बाद वेनगंगा नदी अपना रौद्र रूप दिखा रही है।
बालाघाट जिले में भारी बारिश और भीमगढ बांध से पानी छोड़े जाने के बाद वैनगंगा नदी के किनारे बसे लगभग आधा सैकड़ा गांवों में अब बाढ़ के हालात बन गये है। स्थिति ऐसी बन चुकी है कि नीचले ईलाको में बसे घरों को खाली करवा दिया गया है। वही किसानों की फसल भी डूब गई है और उन्हें काफी नुकसान होने की संभावना है।
अतिवृष्टि को देखते हुए कलेक्टर ने शासकीय व अशासकीय विद्यालयों में दो दिन का अवकाश घोषित कर दिया है।कलेक्टर के आदेश के बाद जिला प्रशासन द्वारा बाढ़ प्रभावित इलाकों में युद्ध स्तर पर राहत कार्य प्रारंभ कर दिया है। लगभग 500 ज्यादा ग्रामीणों को राहत शिविरों में पहुंचाया गया जहां पर खाने पीने व रहने की व्यवस्था किया गया है बालाघाट से गोंदिया तथा लांजी की ओर जाने के लिए बनाये गए बायपास रोड पर पानी आ जाने से यह रास्ता भी बंद हो चुका है।
इसके अलावा जिला मुख्यालय का आधा सैकड़ा से अधिक इलाकों से संपर्क टूट चुका है। बढ़ते पानी के प्रभाव को देखते हुए प्रशासन द्वारा नदी किनारे के गांवों को अलर्ट किया गया था। साथ ही तहसीलदारों, स्वास्थ्य, खाद्य, जनपद और थाना प्रभारियों को भी अलर्ट किया गया था। प्रशासन द्वारा देवसर्रा के 2 परिवारों, तीनगढ़ी सेमरटोला के 3 और छोटी कुम्हारी के करीब 30 और लालबर्रा में 19 ग्रामीणों को रेस्क्यू करके गांव में ही उनके रिश्तेदारों के घर और राहत शिविरों में पहुंचा दिया गया है।
संजय सरोवर परियोजना भीमगढ़ बांध के 7 गेट खुले हुए है। इन 7 गेट से लगातार 70000 घन फिट जल प्रति सेकेण्ड छोड़ा जा रहा है। जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन द्वारा जिले के तैराकों की सूची जारी की गई है। यह सूची संबधित थाना क्षेत्र व राजस्व अधिकारियों सहित बचाव कार्यों में लगे विभागों को दी गई है। सूची में तैराक के नाम पता और मोबाइल नबंर भी उपलब्ध है। साथ ही होमगार्ड द्वारा भी कंट्रोल स्थापित किया गया है। ज़िले के खैरलांजी, लालबर्रा, लामता और बालाघाट जिला मुख्यालय के गौरीशंकर नगर व आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में भी बाढ़ के हालत निर्मित हो गई है।
बाढ़ की स्थितियों से निपटने के लिये जिला प्रशासन अलर्ट पर है और सुचनाओं पर रेस्क्यू चलाकर लोगों को सुरक्षित बाहर भी निकाला जा रहा है। लामता के घुनाडी में नदी किनारे स्थित मंदिर में पंडित के फंसे होने की सुचना मिलने पर उन्हें सुरक्षित बाहर निकाला गया। वहीं शहर से लगे कुम्हारी गांव में लगभग 15 घर खाली करवाये गये।जिनको रेस्क्यू टीम द्वारा राहत शिविरों में भेजा गया।जहां पर खाने पीने की व रहने की व्यवस्था की गया है।अतिवृष्टि को देखते हुए कलेक्टर ने शासकीय व अशासकीय विद्यालयों में दो दिन का अवकाश घोषित कर दिया है। गौरतलब है कि वेनगंगा नदी में बाढ़ के कारण बालाघाट जिले के कई इलाकों से संपर्क टूट गया है … ।
मंगलवार सुबह से वेनगंगा नदी किनारे के गांवों में बाढ़ की स्थिति बनी। बाढ़ की स्थिति का निरीक्षण करने कलेक्टर डॉ.गिरीश कुमार मिश्रा और एसपी श्री समीर सौरभ ने संयुक्त रूप से नगर और नदी किनारें बसे गांवों का निरीक्षण किया। वे गौरीशंकर नगर के अलावा नगर के कई क्षेत्रों और कुम्हारी की स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान उन्होंने कुम्हारी के आवासटोला व माताटोला में बसे नागरिकों को सुरक्षित स्थानों पर पहुँचाया। साथ ही उन्होंने मंगलवार और बुधवार को स्कूलों की अवकाश के आदेश भी जारी किए। नगर के गौरीशंकर वार्ड में वेनगंगा नदी का पानी घुसने से वार्ड खाली कराकर सुरक्षित स्थान पर व्यवस्था करने के निर्देश दिए। साथ ही अन्य अनुभागों के एसडीएम भी अपने-अपने क्षेत्रों में बाढ़ की स्थिति का अवलोकन करने जलाशयों व पुल पुलियॉ का अवलोकन करने पहुंचे।
बालाघाट कलेक्टर गिरीश मिश्रा ने कहा कि अभी बाढ़ की स्थिति सभी जगहो पर सामान्य है, प्रशासनिक टीम और एसडीईआरएफ की टीम लगातार मॉनिटरिंग कर रही है। कही भी स्थिति बिगडती है तो वहां लोगो को हर प्रकार की मदद पंहुचाई जायेगी।