तनवीर जाफ़री
अन्य करोड़ों लोगों की तरह मैं भी फ़िल्म जगत में ‘ही मैन’ के नाम से प्रसिद्ध फ़िल्म अभिनेता धर्मेंद्र का बचपन से ही प्रशंसक हूँ। 1985-87 के मध्य इलाहाबाद में अमिताभ बच्चन के साथ काम करने का अवसर मिला। उसी दौर में मुंबई आना जाना रहा। उन दिनों मुझे संजय ख़ान,दारा सिंह,रणजीत,देव कुमार उनकी सुपुत्री मिस इंडिया मनीषा कोहली सहित अन्य कई कलाकारों से व्यक्तिगत रूप से मिलने का अवसर मिला। परन्तु इत्तेफ़ाक़ से दो बार कोशिशों के बावजूद धर्मेंद्र से इसलिये न मिल सका क्योंकि मेरे मुंबई के प्रवास के दौरान वे शूटिंग पर कहीं बाहर होते। बहरहाल उनसे मिलने व उनके साथ बैठने की हसरत दिल में ही रही। इत्तेफ़ाक़ से 2005 में जब मैं लोकसभा की कार्रवाई देखने के लिये दिल्ली गया था उसी दौरान संसद के मुख्य द्वार पर मेरी नज़र इस महान अभिनेता पर पड़ी। उस समय वे 2004 से 2009 के मध्य बनी 14वीं लोकसभा में राजस्थान के बीकानेर लोकसभा क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी की ओर से निर्वाचित हुये सांसद थे। मैं उन्हें देखकर ज़ोर से बोल पड़ा –अरे …बीरु .. और धर्मेंद्र ने मेरी तरफ़ दोनों हाथ बढ़ाते हुये ज़ोर से कहा –आ जा मेरी जान। मैं उनकी तरफ़ तेज़ी से बढ़ा ,उन्होंने बी आगे बढ़कर पूरी गर्मजोशी से मुझे दोनों हाथों से झप्पी डालते हुये इतनी ज़ोर से उठाया की मेरे दोनों पैर ज़मीन से ऊपर उठ गये। उस अविस्मरणीय क्षण को मैं आज भी भी याद करता हूँ।
बहरहाल पिछले दिनों भारत के बदनाम ज़माना ‘गोदी मीडिया ‘ ने देश के उस हरदिलअज़ीज़ अभिनेता को उनके जीवनकाल में ही अपनी ‘ख़बरों’ में श्रद्धांजलि दे डाली। ग़ौर तलब है कि सांस लेने में दिक़्क़त होने के कारण उन्हें पिछले दिनों मुंबई के ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में उन्हें भर्ती कराया गया था। उनके अस्पताल में भर्ती होते ही टी आर पी के भूखे गोदी मीडिया ने अपने मुख्य वाक्य ‘सबसे तेज़’ को साकार करने के मक़सद से मोर्चा संभाल लिया। और 10-11 नवंबर के बीच अच्छे ख़ासे बोलते बात चीत करते इस लोकप्रिय अभिनेता की मौत की झूठी अफ़वाहें तेज़ी से फैला दीं। ऐसी अफ़वाहबाज़ी कि केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ,कांग्रेस सांसद अभिषेक मनु सिंहवी, तेलुगु सुपरस्टार चिरंजीवी,अभिनेत्री भाग्यश्री, गीतकार व पटकथा लेखक जावेद अख़्तर यहाँ कि ख़ुद गोदी मीडिया की ही एक चर्चित पत्रकार चित्रा त्रिपाठी तक ने इसी झूठी ख़बर पर विश्वास करते हुये धर्मेंद्र को श्रद्धांजलि व श्रद्धासुमन अर्पित कर डाले। बाद में इनमें से कई हस्तियों ने अपने ऐसे ट्वीट डिलीट भी किये ? यहाँ तक कि कई बड़े अख़बारों ने भी इसी गोदी मीडिया की इस झूठी ख़बर पर विश्वास हुये मुख्य पृष्ठ पर ख़बरें प्रकाशित कर डालीं। उधर वही धर्मेंद्र अपनी मौत की झूठी ख़बर फैलने के अगले ही दिन यानी 12 नवंबर को अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिए गए। अस्पताल से छुट्टी के बाद वे सजे संवरे सर पर हैट धारण किये अपने अभिनेता पुत्रों के साथ हँसते मुस्कुराते और उसी मीडिया का अभिवादन करते हुये अपने घर जाते नज़र आये।
परन्तु पहले भी इस तरह की अफ़वाह फैलाते रहने वाले गोदी मीडिया को इस बार कुछ ज़्यादा ही मुँह की खानी पड़ी। न केवल धर्मेंद्र के परिवार के सदस्यों ने बल्कि धर्मेंद्र के प्रशंसकों ने भी सोशल साइट्स पर गोदी मीडिया की धज्जियाँ उड़ाकर रख दीं। धर्मेंद्र की बेटी अभिनेत्री ईशा देओल ने सबसे पहले अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि “मीडिया हद से ज़्यादा सक्रिय है और झूठी ख़बरें फैला रहा है। मेरे पापा स्थिर हैं और रिकवर कर रहे हैं। परिवार को प्राइवेसी दें। पापा के जल्द ठीक होने की दुआओं के लिए शुक्रिया।” उसके फ़ौरन बाद अभिनेत्री पत्नी व सांसद हेमा मालिनी ने X (ट्विटर) पर ग़ुस्से में लिखा कि “जो हो रहा है वो अक्षम्य है! ज़िम्मेदार चैनल ऐसे व्यक्ति के बारे में झूठी ख़बरें कैसे फैला सकते हैं जो इलाज पर अच्छी प्रतिक्रिया दे रहा है और रिकवर कर रहा है? ये बेहद असम्मानजनक और ग़ैर -ज़िम्मेदाराना है। परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें।” बाद में अभिनेता पुत्र सनी देओल की टीम की ओर से आधिकारिक बयान जारी कर कहा गया कि “मिस्टर धर्मेंद्र स्थिर हैं और ऑब्ज़र्वेशन में हैं। वे अच्छी प्रतिक्रिया दे रहे हैं। झूठी अफ़वाहें न फैलाएं, प्राइवेसी का सम्मान करें और जल्द स्वस्थ होने की दुआ करें।”
इस अफ़वाहबाज़ गोदी मीडिया को सबसे अधिक ज़लालत व अपमान का सामना सोशल मीडिया में करना पड़ा। इतना आक्रोश तो उस समय भी देखना नहीं पड़ा था जब पहले भी कई बार यही ग़ैर ज़िम्मेदार और झूठ परोसने वाला मीडिया कभी अमिताभ बच्चन तो कभी राजिनीकांत कभी शाहरुख ख़ान तो कभी फ़रीदा जलाल कभी लता मंगेशकर,राजेश खन्ना,कॅटरीना कैफ़ व आयुष्मान खुराना जैसे कई कलाकारों को उनके जीवित रहते हुये भी ‘मारने की ख़बरें चलाता रहा है। इस बार तो धर्मेंद्र के प्रशंसकों ने व गोदी मीडिया को देश की पत्रकारिता पर कलंक समझने वाले देश के एक प्रबुद्ध वर्ग ने ऐसी पत्रकारिता ऐसे ऐंकरों व ‘ ऐंकराओं ‘ की तो धज्जियाँ उड़ाकर रख दीं। सीधे तौर पर धर्मेंद्र की मौत की झूठी ख़बर शोकपूर्ण भाव भंगिमा से पेश करने वाली गोदी मीडिया की उस बदनाम ‘ऐंकरा’ के चित्र पर ही माला डालकर उसी को श्रद्धांजलि अर्पित कर डाली। लाखों लोगों द्वारा ऐसी ग़ैर ज़िम्मेदाराना पत्रकारिता की घोर भर्तस्ना की गयी। कई मशहूर यू ट्यूबर पत्रकारों ने धर्मेंद्र की बीमारी के संबंध में तो नहीं परन्तु अफ़वाहबाज़ मीडिया द्वारा फैलाई गयी धर्मेंद्र संबंधी अफ़वाह को लेकर विशेष कार्यक्रम ज़रूर बनाये और ग़ैर ज़िम्मेदार गोदी मीडिया की जम कर धुलाई की।
आश्चर्य है कि पिछले दस वर्षों से घोर अपमान झेल रहा यह पक्षपाती,समाज में दुर्भावना फैलाने वाला,लोगों को झूठी ख़बरों से गुमराह करने वाला,सरकारी विज्ञापनों व पैसों की लालच में अपना ज़मीर बेचने वाला तथा अपनी इन्हीं ग़ैर ज़िम्मेदाराना हरकतों से देश व पत्रकारिता को कलंकित करने वाला अनियंत्रित ‘गोदी मीडिया ‘ अभी भी झूठी,बेबुनियाद,उकसाऊ व अफ़वाहपूर्ण ख़बरों को प्रसारित करने से बाज़ नहीं आ रहा। यही वजह है कि धर्मेंद्र के सम्बन्ध में विश्वसनीय नहीं बल्कि ‘सबसे तेज़’ चैनल बनने के चक्कर में मीडिया स्वयं ‘श्रद्धांजलि ‘ का पात्र बन बैठा।





