गोपेन्द्र नाथ भट्ट
राजस्थान के मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा इन दिनों देश की राजधानी नई दिली के लगातार दौरे कर रहे है। उनके ये दौरे सरकारी कार्यों के साथ साथ राजनीतिक प्रयोजनों से भी प्रेरित बताए जा रहे है। मुख्यमंत्री शर्मा की इस सक्रियता की राजनीतिक क्षेत्रों में बहुत चर्चा है। विशेष कर मंगलवार को नई दिल्ली से जयपुर लौटते वक्त उनकी भाजपा की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से हुई मुलाकात विशेष चर्चा में है। बताया जा रह है कि मंगलवार शाम को मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा, पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से मिलने उनके नई दिल्ली के सरोजनी नगर स्थित निजी आवास लेखा विहार गए थे।
हालांकि इस मुलाकात की कोई आधिकारिक जानकारी तो सामने नहीं आई है लेकिन राजनीतिक क्षेत्रों में माना जा रहा है कि पिछले दिनों वसुन्धरा राजे की प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से नए संसद भवन में हुई मुलाकात के बाद मुख्यमंत्री शर्मा की वसुन्धरा राजे से हुई इस मुलाकात के अपने विशेष मायने है। ऐसा भी अनुमान लगाया जा रहा है कि भाजपा के शीर्ष नेतृत्व की सलाह और निर्देश पर ही भजनलाल ने वसुंधरा राजे से मुलाकात की है।भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव से पूर्व वसुन्धरा राजे ने भी इन दिनों अपनी सक्रियता बहुत बढ़ा दी है तथा वे केन्द्र और राज्य के नेताओं से निरन्तर भेंट कर रही हैं।
मुख्यमंत्री भजनलाल की राजे से हुई इस मुलाकात को वसुंधरा राजे द्वारा प्रधानमंत्री मोदी को दिए गए उस कथित फीड बैक से जोड़ कर भी देखा जा रहा है कि जिसमें कहा गया था कि भजन लाल शर्मा उनका सम्मान तो करते है लेकिन उनके विधानसभा क्षेत्र और उनके पुत्र एवं प्रदेश के सबसे वरिष्ठ सांसद दुष्यन्त सिंह के संसदीय क्षेत्र झालावाड़ बारां में अपेक्षित विकास कार्य नहीं हो रहे तथा प्रदेश के इस पिछड़े क्षेत्र को डबल इंजन की सरकार बनने के बावजूद राज्य सरकार द्वारा प्राथमिकता नहीं दी जा रही हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पूर्वी राजस्थान की जीवन रेखा मानी जाने वाली महत्वाकांशी पुनर्संशोधित पीकेसी ईआरसीपी नहर परियोजना से लाभान्वित होने वाले 21 जिलों में झालावाड़ बारां को प्राथमिकता से शामिल नहीं किए जाने से भी वसुंधरा राजे खुश नहीं है जबकि पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना की संकल्पना वसुंधरा राजे ने अपने मुख्यमंत्रित्व काल में ही की थी। इस महती परियोजना के पूरी होने से लाभान्वित होने वाले ज़िलों को पीने और सिंचाई के लिए पानी की सुविधा मिलेगी। पूर्वी राजस्थान के लिए एक नई जीवन रेखा मानी जाने वाली इस अतिमहत्वपूर्ण परियोजना को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने के लिए वसुंधरा राजे ने खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से आग्रह किया था और बाद में अशोक गहलोत ने भी अपने मुख्यमंत्रित्व काल के दौरान इसकी पूरजोर मांग की थी।
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा पिछले दो दिनों से नई दिल्ली में ही थे। इस दौरान उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के अलावा केन्द्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल तथा मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव से भी मुलाकात की। मुख्यमंत्री शर्मा ने सोमवार को केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह को जयपुर में हुए राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इनवेस्टमेंट समिट के सफल आयोजन और अपने एक वर्ष के कार्यकाल के बारे में विस्तार से जानकारी दी । साथ ही बताया जाता है कि इस दौरान दोनों नेताओं ने राजस्थान से जुड़े विभिन्न महत्वपूर्ण विषयों एवं मुद्दों पर भी विस्तृत चर्चा की। राजनीतिक जानकारों के अनुसार मुख्यमंत्री भजन लाल ने अमित शाह से राजस्थान मंत्रिपरिषद के प्रस्तावित विस्तार और प्रदेश में निगम और बोर्ड्स आदि में राजनीतिक नियुक्तियों के अलावा आने वाले निकाय और पंचायत चुनावों पर भी चर्चा की तथा उनका मार्ग दर्शन लिया। उन्होंने भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ के साथ उनके अच्छे तालमेल और प्रदेश संगठन की विभिन्न गतिविधियों से भी उन्हें अवगत कराया।
मंगलवार को मुख्यमंत्री शर्मा ने केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल से अपनी मुलाकात के दौरान राजस्थान की विभिन्न विकास परियोजनाओं, उद्योग और अन्य क्षेत्रों में निवेश में संभावनाओं एवं राज्य के समग्र आर्थिक विकास पर विस्तार से बातचीत की। साथ ही राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इनवेस्टमेंट समिट में आए निवेश प्रस्तावों के क्रियान्वयन में केन्द्रीय सहयोग के सम्बन्ध में चर्चा की। इसी क्रम में मुख्यमंत्री शर्मा की नई दिल्ली के जोधपुर हाउस में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव से भी भेंट हुई और समझा जाता है कि इस मुलाकात के दौरान दोनों नेताओं ने पीकेसी ईआरसीपी परियोजना सहित दोनों राज्यों के मध्य चल रहे विभिन्न विकास कार्यों, पारस्परिक सहयोग एवं आर्थिक संबंधों संबंधित विषयों पर विस्तृत चर्चा की ।
मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा की राजनीतिक सक्रियता और शिष्टाचार मुलाकातों की दृष्टि से उनके अपने पूर्ववर्ती मुख्यमंत्रियों के नक्शे कदम चलने की प्रवृति को देख रहे राजनीतिक जानकार अब मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा की नई दिल्ली में अनायास ही पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से हुई मुलाकात के राजनीतिक मायने ढूंढ रहे है। देखना है आने वाले समय में इस भेंट का पटाक्षेप किस रूप में होता है?