ओम प्रकाश उनियाल
पूर्वोत्तर के तीन राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में से दो राज्यों में ‘मोदी मैजिक’ बरकरार रहा। त्रिपुरा एवं नागालैण्ड में भाजपा ने पुन: दमखम दिखाकर बहुमत हासिल किया। जबकि, मेघालय में भाजपा अपना जलवा कायम नहीं रख पायी। त्रिपुरा एवं नागालैण्ड में कांग्रेस का सूपड़ा साफ होने से कांग्रेस हमेशा के लिए इन राज्यों से हाशिए पर नजर आ रही है। मेघालय में एनपीपी ने सबसे अधिक सीट हासिल की हैं। हालांकि यहां किसी भी दल को बहुमत नहीं मिला लेकिन भाजपा एनपीपी के साथ मिलकर सरकार बनाएगी। मेघालय से भाजपा को दो सीट मिली हैं। मेघालय व नागालैण्ड में क्रिश्चियन आबादी भी अधिक है। त्रिपुरा में जनजाति। भाजपा पूर्वोत्तर में अपना जलवा बिखेर कर अब छह: राज्यों में होने वाले आगामी विधानसभा चुनावों पर भी अपनी पैनी नजर गढ़ाए हुए है। इन राज्यों पर भी भाजपा अपनी पैठ बनाने के लिए पूरी ताकत झोंकेगी। जिस तरह पूर्वोत्तर में मोदी का जादू लोगों के सिर चढ़कर बोला उससे भाजपा का हौसला और भी बढ़ गया। मिशन 2024 के लिए भाजपा अपने गढ़ों को मजबूत बनाती जा रही है। पूर्वोत्तर में चुनाव से पहले मोदी ने ताबड़तोड़ रैलियां करके वहां के लोगों का दिल इस कदर जीता कि उनका झुकाव व विश्वास मोदी के प्रति दोगुना बढ़ा। इस जीत के बाद प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में पूर्वोत्तर की जनता का धन्यवाद व्यक्त करते हुए कहा कि ‘नॉर्थ-ईस्ट न दिल से दूर, न दिल्ली से दूर’। उन्होंने कहा कि हमने विकास का नया मॉडल देश को दिया है। भाजपा की जीत का रहस्य त्रिवेणी है। दल का कार्यकर्ता तीसरा नेत्र है। गौरतलब है कि, भाजपा जहां भी चुनाव जीतती है ‘मोदी है तो मुमकिन है’ का नारा जरूर गूंजता है।