- हमने अपने रक्षण को मजबूत करने पर बहुत मेहनत की है
- हम किसी भी मैच को हल्के नहीं लेंगे, मैच दर मैच आगे बढ़ेंगे
- हमने इस पर ध्यान लगाया कि हमें कहां सुधार करना है
- हम अपने उस्तादोंं की योजना का अनुसरण करेंगे
सत्येन्द्र पाल सिंह
नई दिल्ली : मुस्तैद फुलबैक सुरेन्दर कुमार ने भारतीय पुरुष हॉकी के बेंगलुरू में चल रहे अभ्यास शिविर में कहा कि टीम का पूरा ध्यान अब बर्मिंघम में होने वाले राष्ट्रमंडल खेलों के लिए फिजिकल फिटनेस पर है। भारतीय पुरुष हॉकी टीम फिलहाल साई, बेंगलुरू में राष्टï्रमंडल खेलों की शिद्दत से तैयारी में जुटी है। भारत पुरुष हॉकी टीम बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में पूल बी में इंग्लैंड, कनाडा, वेल्स और घाना के साथ हे। भारत अपना अभियान घाना के खिलाफ 31 जुलाई को मैच खेल कर करेगा।
भारत की पुरुष हॉकी एफआईएच हॉकी प्रो लीग 2021-22 में तीसरे य्सथान पर रही। सुरेन्दर कुमार का मानना है ,’ एफआईएच हॉकी प्रो लीग में मजबूत टीमों के खिलाफ खेलने का लाभ हमारी भारतीय टीम को बर्मिंघम में राष्ट्रमंडल खेलों में मिलेगा। हमारा लक्ष्य राष्ट्रमंडल खेलों में हॉकी में स्वर्णजीतना है पर यह वहां हमारे प्रदर्शन पर निर्भर करेगा। हमारा बेंगलुरू में अभ्यास सत्र अभी भी चल रहा है। हमारा मुख्य तौर पर ध्यान फिटनेस पर है और हम इसी पर जमकर मेहनत कर रहे हैं। हमने खेल के अन्य पहलुओं पर मजबूत होने से काफी मेहनत की है खासतौर पर अपने रक्षण को मजबूत करने पर है। हमारी टीम किसी भी मैच को हल्के नहीं लेगी । हर टीम इन खेलों में स्वर्ण पदक जीतने के मकसद से उतरेगी। फिलहाल हमारा फोकस घाना के खिलाफ पहले मैच पर है। हम मैचों के जो भी फुटेज मिले हैं हम उन्हें बेहद ध्यान से देख रहे हैं। हमारे हॉकी उस्ताद इसी के मुताबिक योजना बनाएंगे और मैच के दौरान भी उसी का अनुसरण करेंगे। टूर्नामेंट में कोई भी टीम आसान नहीं है और हम इसीलिए मैच दर मैच आगे बढ़ेंगे।’
उन्होंने कहा, ‘ हमने बीते बरस टोक्यो ओलंपिक के बाद से जो मैच खेले वे हमारे लिए खासे बढिय़ा रहे। हमें मजबूत टीमों के खिलाफ खेलने का वाकई लाभ मिला। हमने अपनी योजना को बढिय़ा ढंग से अमली जामा पहनाया। हमने यह भी जाना कि हमें कहां क्या सुधार करना है। हमने इसी पर ध्यान लगाया कि हमें कहां सुधार करना है। हमारी टीम अनुभवी और नौजवान खिलाडिय़ों की बढिय़ा टीम है। हमारे सीनियर अभिषेक और जुगराज सिंह जैसे नौजवान खिलाडिय़ों को बराबर अच्छी सलाह देते हैं। हमसे सभी ने यही कहा है किराष्ट्रमंडल खेलों में बढिय़ा प्रदर्शन करने का दबाव न महसूस करें और इसके मैचों को भी आम मैचों की तरह लें। हमारे सभी उस्तादों और सीनियर खिलाडिय़ों बराबर हमसे यही कह रहे है कि मजबूत टीमों के खिलाफ खेलने का अनुभव हासिल हो चुका है और बढिय़ा प्रदर्शन के लिए तैयार हैं।