- स्कूल जाने के लिए बच्चों का उत्साह ही उसकी उत्कृष्टता का प्रमाण है : डॉ. राजेश्वर सिंह
- भारत के पास दुनिया में उच्च शिक्षा का सबसे बड़ा नेटवर्क : डॉ. राजेश्वर सिंह
- आशियाना : प्री-स्कूल किडजी में छोटे बच्चों के बीच पहुंचे डॉ. राजेश्वर सिंह, बांटी टॉफी और चॉकलेट
रविवार दिल्ली नेटवर्क
लखनऊ : हर एक बच्चा प्रतिभावान होता है। बच्चों के लिए प्राइमरी शिक्षा सर्वाधिक महत्वपूर्ण है। प्राइमरी शिक्षा के दौरान ही बच्चों में सर्वाधिक आत्मविश्वास बढ़ता है। स्कूल जाने के प्रति बच्चों का उत्साह ही किसी स्कूल की उत्कृष्टता का प्रमाण है। यह बातें सरोजनीगर विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह ने कहीं, मौका था प्री-स्कूल किडजी आशियाना सरोजनीनगर के सफलतम 15 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में आयोजित सेलिब्रेशन कार्यक्रम का।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में पहुंचे डॉ. राजेश्वर सिंह ने सर्वप्रथम बच्चों के बीच जाकर उन्हें स्नेह किया, टॉफी और चॉकलेट बांटीं। साथ ही विधायक ने बहुत ही भावनात्मक रूप और प्रेम भाव के साथ बच्चों से वार्तालाप किया, विधायक के इस स्नेहिल अंदाज के साथ-साथ टॉफी-चॉकलेट पाकर बच्चे बहुत ही उत्साहित दिखे। मानों विधायक भी बच्चों के साथ बच्चे बन गए थे।
कार्यक्रम में बच्चों द्वारा मंत्रमुग्ध वाली मनमोहक प्रस्तृति दी गई। डॉ. राजेश्वर सिंह ने इस मौके पर किडजी के प्रिंसिपल और शिक्षकों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि एक शिक्षक छात्रों के जीवन को ज्ञान से रोशन करता है। किडजी स्कूल बच्चों को आने वाले कल के लिए तैयार कर रहा है, यह अति सराहनीय है। शिक्षा के क्षेत्र में भारत का गौरवशाली इतिहास रहा है, नालंदा, तक्षशिला, विक्रमशिला जैसे विश्वविद्यालय विश्व में शिक्षा के केंद्र थे। आजादी के समय भारत में मात्र 1 लाख 50 हजार प्राथमिक स्कूल थे, आज इनकी संख्या 15 लाख से अधिक है। 1950 में देश में 20 यूनिवर्सिटी थी जबकि आज 1 हजार से अधिक विश्वविद्यालय हैं। विश्वभर में उच्च शिक्षा संस्थानों का सबसे बड़ा नेटवर्क भारत में है। भारत में 4.25 करोड़ से ज्यादा युवा हायर एजुकेशन ग्रहण कर रहे हैं।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए डॉ. राजेश्वर सिंह ने कहा कि ये बच्चे देश का भविष्य हैं, बच्चों की शिक्षा की नींव मजबूत होगी तो राष्ट्र का भविष्य उज्ज्वल व सुदृढ़ होगा। पीएम मोदी और सीएम योगी सरकार बच्चों की गुणवत्तापरक शिक्षा के लिए प्रतिबद्ध है। यूपी में 1.94 करोड़ से अधिक बच्चे स्कूल जा रहे हैं, ऑपरेशन कायाकल्प से स्कूलों का कायकल्प हो रहा है, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने डिजिटल शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए 3,600 करोड़ का बजट जारी किया और 2 करोड़ छात्रों को लैपटॉप दे रहे हैं।
सरोजनीनगर क्षेत्र में शिक्ष को बढ़ावा देने हेतु किये जा रहे कार्यों की ओर ध्यान आकर्षित करते हुए विधायक ने बताया कि पहाड़पुर उच्च प्राथमिक विद्यालय को मॉडल स्कूल के रूप में स्थापित किया जा रहा है, यहां बच्चों के लिए प्लेनेटोरियम, ज्वायफुल लर्निंग क्लास, मल्टी प्लेस्टेशन, स्मार्ट इंटरेक्टिव पैनल, गूगल फ्यूचर क्लासरूप, STEM रोबोटिक्स लैब, फ्यूचर क्लास रूम जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं हैं। क्षेत्र के 15 कॉलेजों में 160 कंप्यूटर देकर डिजिटल लैब स्थापित करवाई गई है। आने वाला समय डिजिटल शिक्षा का है, ऐसे में यह आवश्यक है कि बच्चों को आधुनिकता से जोड़ा जाए।
विधायक ने आगे यह भी बताया कि सरोजनीनगर में मेधावियों को साइकिल व प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जा रहा है। क्षेत्र के युवाओं को खेल के नए-नए अवसर दिलाए जा रहे हैं, सरोजनीनगर स्पोर्ट्स लीग के प्रथम चरण में अंडर-19 गर्ल्स बास्केटबॉल टूर्नामेंट और दूसरे चरण में किक्रेट लीग का आयोजन किया गया, अब फुटबॉल टूर्नामेंट का आयोजन होने जा रहा है।
कार्यक्रम में किडजी के डायरेक्टर एवं प्रिंसिपल राहुल श्रीवास्तव, डॉ. रश्मि सिंह, एकेडमिक हेड रुचि रस्तोगी, स्पर्श वेलफेयर सोसाइटी अध्यक्ष डॉक्टर धर्मेंद्र शर्मा, नेहा सिंह समेत बड़ी संख्या में बच्चे और अभिभावक उपस्थित रहे।