8 जून को गठबंधन वाली मोदी सरकार-03 का होगा राज्याभिषेक

Coalition Modi government-03 will be crowned on June 8

गोपेन्द्र नाथ भट्ट

लोकसभा चुनाव में नतीजे जारी होने के बाद जहां एक ओर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए को मिले बहुमत के साथ सरकार बनाने की ओर आगे बढ़ रहा है, वहीं अब दूसरी ओर इंडिया गठबंधन ने भावी रणनीति तय करने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के आवास पर बैठक की है। इस मध्य खड़गे का एक बयान भी सामने आया है जिसमें कहा गया है कि इंडिया गठबंधन फिलहाल सरकार बनाने की कोशिश नहीं करेगा।

एनडीए को लोकसभा में मिले बहुमत के बाद नई सरकार बनाने की कवायद तेज हो गई है । ऐसे में बुधवार को प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में एनडीए दलों की बैठक हुई । बुधवार को प्रधानमंत्री मोदी के आवास पर एनडीए नेताओं की बैठक के दौरान 16 दलों के नेता मौजूद रहे। बैठक में नरेंद्र मोदी को एनडीए का नेता चुना गया । घटक दलों ने मोदी के नेतृत्व पर भरोसा जताया है और एक प्रस्ताव पर 21 नेताओं ने हस्ताक्षर किए है। सूत्रों के मुताबिक सभी दलों ने मोदी को एनडीए के समर्थन का पत्र सौंपा है। नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू ने भी अपना समर्थन पत्र सौंप दिया है। बैठक के दौरान नीतीश कुमार ने एक बड़ा बयान दिया है कि केन्द्र में बिना किसी विलंब के सरकार जल्द से जल्द बननी चाहिए। प्रधानमन्त्री आवास पर हुई एनडीए नेताओं की एक बैठक में एक अहम प्रस्ताव भी पास किया गया जिसके अनुसार बिना विलंब के राष्ट्रपति को सरकार बनाने का दावा पेश किया जायेगा।

इधर इंडिया गठबंधन की काग्रेस अध्यक्ष खरगे के आवास पर हुई बैठक में 27 दलों के नेता शामिल हुए जिसमें कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी,केसी वेणुगोपाल सहित कल्पना सोरेन, चंपई सोरेन, दीपांकर भट्टाचार्य, संजय सिंह, अभिषेक बनर्जी, तेजस्वी यादव, राघव चड्ढा, सीताराम येचुरी, शरद पवार, सुप्रिया सुले, एमके स्टालिन, संजय राउत,उमर अब्दुल्ला,डी राजा,अखिलेश, रामगोपाल यादव आदि मौजूद रहें।

इस बैठक में खड़गे ने बड़ा बयान दिया है कि हमारे गठबंधन में सभी का स्वागत है। इस बार हम एकजुट होकर पूरी ताकत से लोकसभा चुनाव लड़े है। उन्होंने यह बयान भी दिया है कि फिलहाल इंडिया गठबंधन केंद्र में सरकार बनाने की कोशिश नहीं करेगा। बैठक में आगे की रणनीति को लेकर भी चर्चा की गई।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने मोदी कैबिनेट की सिफारिश पर 17वीं लोकसभा भंग कर दी है। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राष्ट्रपति मुर्मू से मुलाकात कर उन्हें मंत्रिपरिषद समेत अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को सौंप दिया। राष्ट्रपति ने उनका इस्तीफा स्वीकार करते हुए उनसे तथा मंत्रिपरिषद से अनुरोध किया है कि वे नई सरकार के कार्यभार संभालने तक पद पर बने रहें। राष्ट्रपति भवन में बुधवार रात को मोदी मंत्रीपरिषद के सदस्यों को विदाई भोज भी दिया।

सूत्रों के मुताबिक आने वाली 8 जून को मोदी सरकार का शपथ ग्रहण होगा। हालांकि इस बार अकेली भाजपा को अपने बलबूते पर बहुमत नहीं मिला है। हालांकि इस बार भी लोकसभा चुनाव परिणामों में भाजपा के नेतृत्व वाले एनडीए ने 292 सीटों पर जीत दर्ज कर लगातार तीसरी बार बहुमत हासिल किया है। मोदी-03 सरकार के शपथ ग्रहण लेकर राष्ट्रपति भवन में तैयारियां शुरू कर दी गई है। बताया जा रहा है कि नरेन्द्र मोदी 8 जून को तीसरी बार प्रधान मंत्री पद की शपथ लेंगे और राष्ट्रपति भवन में शाम 7 से 8 बजे के बीच शपथ ग्रहण की संभावना मानी जा रही है।

उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के नतीजों में इस बार भी एनडीए ने अपना परचम लहराया है। बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए ने 292 सीटों पर जीत दर्ज की और बहुमत हासिल किया है। बीजेपी ने अकेले 240 सीटों पर जीत हासिल की है। वहीं विपक्षी गठबंधन इंडिया ब्लॉक ने 234 सीटें जबकि अन्य ने 17 सीटों पर विजय दर्ज की है.

इधर कांग्रेस ने कहा कि लोकसभा के नतीजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ बड़ा जनादेश है। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा लोगों के जनादेश को तोड़फोड़ करने पर उतारू है। कांग्रेस नेता ने कहा कि निवर्तमान प्रधानमंत्री अब कार्यवाहक प्रधानमंत्री बन चुके हैं और देश ने इनके खिलाफ प्रचंड जनादेश दिया है लेकिन ये डेमोक्रेसी को डेमो-कुर्सी बनाना चाहते हैं।
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि जिस इतिहास‌ को मास्टर डिस्टॉर्टियन भी दोबारा नहीं लिख सकते, वह यह है कि नेहरू 1952 में 364, 1957 में 371 और 1962 में 361 सीटों के साथ प्रधानमंत्री चुने गए थे। नरेंद्र मोदी को 2024 में 240 सीटें मिली हैं। यह उनके खिलाफ एक प्रचंड जनादेश है, लेकिन वह इसका सम्मान नहीं करना चाहते। उल्लेखनीय है कि लगातार तीसरी बार जीत दर्ज करने के बाद प्रधनमंत्री मोदी ने मंगलवार को भाजपा मुख्यालय में अपने संबोधन में कहा था कि 1962 के बाद पहली बार किसी सरकार को लगातार तीसरी बार जनादेश मिला है।

जयराम रमेश ने अपने एक अन्य पोस्ट में कहा है कि नवंबर 1989 में कांग्रेस को 197 सीटें मिलीं थी और देश में वह सबसे बड़ी पार्टी बनकर सामने आई थी। इस लिहाज से वह सरकार बनाने का दावा कर सकती थी, लेकिन राजीव गांधी ने वही किया जो उन्हें उचित और नैतिक रूप से सही लगा।

लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजे के बाद देश की राजनीति में हलचल मच गई है। इस बार किसी भी पार्टी को पूर्ण बहुमत न मिलने के कारण तय है कि केंद्र में गठबंधन की सरकार बनेगी। वर्तमान में 292 सीटों के साथ एनडीए गठबंधन के पास पूर्ण बहुमत है। ऐसे में इस बार गठबंधन सरकार बनाने में जेडीयू नेता नीतीश कुमार और टीडीपी नेता चंद्रबाबू नायडू की भूमिका अहम हो गई है और वे किंग मेकर बन कर उभर रहे है।

वैसे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के राजनीतिक जीवन में यह पहला मौका है जब उनकी पार्टी भाजपा को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है। ऐसे में अबकी बार उनके सामने राजनीति की कड़ी अग्नि परीक्षा है।

देखना है आने वाले दिनों में प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी अपनी पहली गठबंधन की सरकार को कैसा रूप देते है?