रविवार दिल्ली नेटवर्क
उमरिया : उमरिया जिले में दीपावली पर मिट्टी के दीपक बनाने वाले कुम्हारों के चाक ने गति पकड ली है। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव द्वारा वोकल फार लोकल स्वदेशी अपनाओ के किये गये आव्हान के बाद कुम्हारों को इस बार अच्छी बिक्री की उम्मीद है। चंदिया, मानपुर, पाली, नौरोजाबाद तथा हाट बाजारों सहित अन्य स्थानों के कुम्हारों का पूरा परिवार ही मिट्टी के दीपक बनाने के काम में हाथ बंटा रहा है, कोई मिट्टी गूंथने में लगता है,तो किसी के हाथ में चाक पर मिट्टी के बर्तनों को आकार दे रहे हैं।
महिलाओं को आग जलाने व पके हुए बर्तनों को व्यवस्थित रखने का जिम्मा सौंपा गया है। इसके साथ ही महिलाएं रंग -बिरंगे रंगों से बर्तनों को सजाने में जुटी हैं। उमरिया के गांधी चौक में रजनी प्रजापति ने अपनी दुकान सजाई है । उन्होने अपनी दुकान में कलात्मक एवं रंग बिरंगे दिये, चीनी मिटटी के सामान, गणेश एवं लक्ष्मी जी की मूर्तियां ,शिवलिंग सजा रखी है। उनका कहना हैं कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री डा मोहन यादव जी द्वारा लोकल फार वोकल के अपील की वजह से मिट्टी के दीये की मांग पिछले साल की तुलना में इस साल बढ़ी है। करीब डेढ़ -दो माह पहले से ही मिट्टी के दीये और अन्य बर्तनों और मूर्तियों के निर्माण कार्य में जुटना पड़ता है। मिट्टी के दीयों की मांग बढ़ने का सबसे बड़ा फायदा यह हुआ है कि कुम्हार समाज को आजीविका के साथ- साथ उनकी सांस्कृतिक विरासत भी जीवित रहतीं आई है। जिला प्रशासन व्दारा बाजारो में बैठने की जगह उपलब्ध कराने के साथ ही बैठकी कर भी निशुल्क कर दिया है ।