भारतीय महिला हॉकी को डी के भीतर निशानेबाजी और पेनल्टी कॉर्नरों के बेहतर इस्तेमाल की जरूरत

Indian women's hockey needs better shooting inside the D and use of penalty corners

भारतीय टीम थाईलैंड को कम आंकने की भूल नहीं कर सकती

सत्येन्द्र पाल सिंह

नई दिल्ली : आक्रामक मिडफील्डर सलीमा टेटे की अगुआई और फिर से चीफ कोच की जिम्मेदारी संभालने वाले हरेन्द्र सिंह के मार्गदर्शन में भारत ने राजगीर(बिहार) में बिहार महिला एशियन चैंपियंस ट्रॉफी हॉकी राजगीर, 2024 में पहले मलयेशिया और दक्षिण कोरिया से अपने दोनों शुरुआती मैच अलग अलग अंदाज में जीत कर आगाज कर पूरे छह अंक हासिल किए है। भारतीय महिला हॉकी टीम के लिए अब तक उसकी दूसरी सबसे कम उम्र की स्ट्राइकर 17 बरस की संगीता कुमारी ने तीन और स्ट्राइकर होने के साथ ड्रैग फ्लिकर ‘ऑलराउंडर’ 20 बरस की दीपिका सहरावत ने दो गोल किए हैं। भारत के लिए लिंकवूमैन के रूप में खेल रही ललरेमसियामी के साथ आक्रामक मिडफील्डर के रूप में खुद कप्तान सलीमा टेटे, नेहा गोयल, शर्मिला कुमार ने बराबर आगे टीम की सबसे छोटी उम्र की स्ट्राइकर सुनीलिता टोपो, संगीता कुमारी, नवनीत कौर और प्रीति दुबे के लिए आगे गेंद बढ़ाई। इसी का नतीजा है कि भारत ने दो मैचों में 19 पेनल्टी कॉर्नर हासिल किए और इनमें से पहले मैच में तीन पर संगीता, प्रीति दुबे और ड्रैग फ्लिकर उदिता दुहान ने एक एक गोल किया है। भारत की स्ट्राइकर संगीता, नवनीत,दीपिका, सुनीलिता टोपो और ब्यूटी डुंगडुंग, ललरेमसियामी और कप्तान सलीमा टेटे द्वारा बराबर आगे बढ़ाई गेंद पर प्रतिद्वंद्वी टीम की डी में पहुंचने के बाद वहां चूकना जरूर चीफ कोच हरेन्द्र सिंह के लिए चिंता का सबब है।

दो बार की चैंपियन भारत और 2024 के पेरिस ओलंपिक की रजत पदक विजेता चीन की महिला टीमें शुरू के अपने अपने दो दो मैच जीत चुकी हैं और दोनों के ही समान रूप से छह छह अंक है। भारत के लिए सेमीफाइनल में पहुंचने के लिए शीर्ष चार में रहना जरूरी है। चीन(+20) की टीम भारत (+5) से अपने बेहतर गोल अंतर के मुकाबले शीर्ष पर है। रोचक बात यह है कि सबसे नीची वरीयता वाली थाईलैंड ने जिस तरह दो बार चैंपियन रही जापान को बढ़त लेने के बाद एक एक की बराबरी पर रोका है उससे भारत भी थाईलैंड को बृहस्पतिवार के मैच में कम आंकने की भूल नहीं कर सकता है। भारत को अपने अगले तीनों मैच जीतने हैं तो उसे डी के भीतर अपनी निशानेबाजी और पेनल्टी कॉर्नर का बेहतर इस्तेमाल करने की जरूरत है।

भारत ने अब तक दो मैचों में कुल सात गोल किए हैं और दो गोल खाए हैं। भारत के लिए संगीता ने तीन, दीपिका सहरावत ने दो तथा प्रीति दुबे व उदिता दुहान ने पेनल्टी कॉर्नर पर एक एक गोल किया। भारत के सामने भले ही शुक्रवार को अपने पहले मैच में ओलंपिक रजत पदक विजेता चीन से पहल मैच 0-15 से हारने के बाद दूसरे मैच में दो बार चैंपियन जापान को एक एक की गोल की बराबरी पर रोका। चीन की जिंजहुआंग तान ने पेनल्टी कॉर्नर पर तीन एक पेनल्टी स्ट्रोक सहित सबसे ज्यादा चार, भारत के लिए संगीता कुमारी ने तीन,दीपिका सहरावत ने दो, उदिता दुहान और प्रीति दुबे ने पेनल्टी कॉर्नर पर एक एक गोल किया। भारत के चीफ कोच हरेन्द्र सिंह को खासतौार पर 20 बरस की हिसार, हरियाणा की दीपिका सहरावत से बहुत उम्मीद हैं। दीपिका ने कभी भाई के साथ कुश्ती में पहलवान बनने की ठानी लेकिन जल्द ही हॉकी को पूरी तरह अपना लिया। भारत के लिए 35 अंतर्राष्ट्रीय मैचों में 11 गोल किए हैं और वह लगातार दूसरी महिला एशियन चैंपियंस ट्रॉफी हॉकी में शिरकत कर रही हैं।

भारत के चीफ कोच हरेन्द्र सिंह ने दक्षिण कोरिया के खिलाफ मैच में जीत के बाद एक बार फिर कहा, ‘हमे मलयेशिया के खिलाफ मैच की तरह दक्षिण कोरिया के खिलाफ मैच यह मैच भी बड़े अंतर से जीतना चाहिए था और इसमें भी हम सात-आठ गोल कर सकते थे। हमारी खिलाड़ियों ने एक गोल करने में ह़ड़बड़ी में एक बार फिर गड़बड़ी की। हम टीम की सभी खिलाड़ियों के साथ अलग अलग म बैठ कर एक बार फिर अपने खेल का विश्लेषण करेंगे।’