भारत अपने पसंदीदा मेलबर्न मैदान पर ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे टेस्ट में जीत के विश्वास के साथ उतरेगा

India will enter the fourth Test against Australia with confidence at their favourite Melbourne ground

  • भारत को जीतना है तो बुमराह को गेंद, विराट को बल्ले से धमाल करना होगा
  • भारत को तेज गेंदबाजों की मुफीद मेलबर्न की पिच पर सही एकादश चुननी होगी
  • बुमराह टेस्ट में विकेट का ’दोहरा शतक‘ पूरा करने से छह विकेट दूर
  • कोंस्टाज करेंगे टेस्ट करियर का आगाज, चोटिल हेड के खेलने को ले संदेह

सत्येन्द्र पाल सिंह

नई दिल्ली : ब्रिस्बेन में फॉलोऑन बचाने के बाद तुरुप के तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह की अगुआई में ऑस्ट्रेलिया की दूसरी पारी बिखेर तीसरा टेस्ट ड्रॉ कराने के बाद सीरीज में एक -एक की बराबरी के बाद भारत अब अपने पसंदीदा मेलबर्न क्रिकेट मैदान पर बॉर्डर- गावसकर ट्रॉफी के बृहस्पतिवार से बॉक्सिंग डे पर शुरू हो रहे चौथे क्रिकेट टेस्ट में जीत के विश्वास के साथ उतरेगा। वहीं ऑस्ट्रेलिया के लिए 19 बरस के सलामी बल्लेबाज सैम कोंस्टाज अपने टेस्ट करियर का आगाज करेंगे जबकि मौजूदा टेस्ट सीरीज में अब तक दो शतक जड़ भारत का सिरदर्द बने ट्रेविज हेड का चोट के चलते खेलना तय नहीं हैं हालांकि चीफ कोच एंड्रयू मैकडॉनल्ड ने उनके चौथे टेस्ट में खेलने का पूरा भरोसा जताया है। भारत को मेलबर्न में चौथा टेस्ट जीत सीरीज में 2-1 की अहम बढ़त लेनी है तो जसप्रीत बुमराह को गेंद और पर्थ में सीरीज के पहले टेस्ट मे शतक जड़ टीम को जिताने वाले अनुभवी विराट कोहली को बल्ले से फिर धमाल करना होगा। भारत के तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह मौजूदा सीरीज के शुरू के तीन टेस्ट मैचों के बाद कुल 21 विकेट चटका विकेट लेने में शीर्ष पर चल रहे हैं। वहीं विराट कोहली का मेलबर्न के मैदान पर 2014 की सीरीज में पहली पारी में 169 के सर्वोच्च टेस्ट स्कोर है और वह दूसरी में 54 तथा 2018 की सीरीज में 82 रन की बेहतरीन पारी खेल कुल 316 रन बना भारत के टेस्ट में मेलबर्न के मैदान पर सबसे कामयाब बल्लेबाज रहे हैं।

विराट कोहली मौजूदा टेस्ट सीरीज में खासतौर पर कवर ड्राइव खेलने की कोशिश में गेंद को शरीर से कुछ दूर खेलने की मौजूदा सीरीज में जोश हेजलवुड और बोलैंड का शिकार बने हैं। विराट को यह समझना होगा कि सचिन तेंडुलकर का एक समय कवर ड्राइव सबसे पसंदीदा स्ट्रोक था लेकिन जब कुछ समय वह बराबर इसे खेलने की कोशिश में आउट होने के बाद उन्होंने इसे खेलने से जिस तरह परहेज किया था। विराट कोहली के लिए भी उसी तरह कम से कम अपनी पारी के शुरू में कवर ड्राइव खेलने से परहेज करना ही ज्यादा मुनासिब होगा। भारत ने ऑस्ट्रेलिया से 2018-19 और फिर 2020-21 के पिछले दौरों में जो दो टेस्ट सीरीज जीती उसमें उसकी मेलबर्न टेस्ट में मिली दो जीत का अहम योगदान है। भारत के लिए मेलबर्न का मैदान इसीलिए घर से बाहर घर जैसा है। भारत ने 2018 दिसंबर में मेलबर्न में सीरीज के तब तीसरे टेस्ट में चेतेश्वर पुजारा के पहली पारी में शतक और कप्तान विराट कोहली और मौजूदा कप्तान रोहित शर्मा के अर्द्धशतकों से पहली पारी में बड़ा स्कोर बनाने के बाद मैन ऑफ द मैच बुमराह के दोनों पारियों में 86 रन देकर चटकाए नौ विकेट की बदौलत 137 रन से जीत कर सीरीज में 2-1 की बढ़त ली थी।2020 -21 की टेस्ट सीरीज में नियमित कप्तान विराट कोहली के पहले टेस्ट के बाद अपने बेटे के जन्म के समय स्वदेश वापस लौटने पर कप्तान अजिंक्य रहाणे के पहली पारी में शतक और जसप्रीत बुमराह के दोनों पारियों में कुल मिलाकर 110 रन दे चटकाए छह विकेट व गेंदबाजी इकाई के रूप में शानदार प्रदर्शन की बदौलत भारत ने मेलबर्न में आठ विकेट से जीत के साथ सीरीज में एक एक की बराबरी पाई थी।भारत के लिए उत्साहवर्द्धक बात है कि मौजूदा दौरे पर जसप्रीत बुमराह पर अब तक 21 विकेट चटकाए हैं और उन्हें टेस्ट में विकेट चटकाने का दोहरा शतक पूरा करने के लिए मेलबर्न टेस्ट में मात्र छह विकेट की जरूरत है। बुमराह यदि छह विकेट चटकाने में कामयाब रहे तो फिर वह अब दौरे के बीच ब्रिस्बेन टेस्ट के बाद अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह चुके रविचंद्रन अश्विन की तरह भारत के लिए सबसे तेज 44 टेस्ट में 200 विकेट चटकाने का गौरव पा लेंगे। भारत के लिए अब पहले की तुलना में तेज गेंदबाजों के लिए कहीं ज्यादा मुफीद बताई जा रही मेलबर्न की पिच पर खासतौर पर सही एकादश को चुनने की बड़ी चुनौती होगी। जहां तक मौसम के मिजाज की बात है तो मेलबर्न में पहले दिन लू चलने की और दूसरे दिन को छोड़ बारिश से खेल में खलल की कोई आशंका नहीं है।

भारत मेलबर्न में ऑस्ट्रेलिया से मौजूदा सीरीज का चौथा टेस्ट जीतता है तो वह बॉर्डर-गावसकर ट्रॉफी पर अपना कब्जा बरकरार रखेगा। भारत यदि मेलबर्न टेस्ट में हारा तो उसका वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (डब्ल्यूटीसी) के फाइनल में पहुंचना अगर मगर में फंस जाएगा। मेलबर्न के मैदान के इतिहास पर नजर डाले तो इस चौथे टेस्ट में पर ड्रॉ की संभावना कम है और नतीजा निकलने की संभावना ज्यादा है। वहीं मेलबर्न टेस्ट में यदि ऑस्ट्रेलिया की टीम जीतती है तो फिर वह पहली बार एक दशक में अपने घर में भारत से पहली टेस्ट सीरीज जीतने की राह पर बढ़ जाएगा। यदि ऑस्ट्रेलिया की टीम भारत से यह टेस्ट सीरीज हारती है तो फिर उस पर बहुत सारे सवाल खड़े हो जाएंगे। अपने बदले मिजाज के चलते अब तेज गेंदबाजों के लिए ज्यादा माकूल मेलबर्न की पिच भारत यदि तीन तेज गेंदबाजों -बुमराह, मोहम्मद सिराज और आकाशदीप और दो स्पिनरों के साथ उतरने का फैसला करता है तो फिर रवींद्र जडेजा के साथ वाशिंगटन सुंदर को एकादश में शामिल करेगा और ऐसे में बल्ले से निचले क्रम में बेहतर प्रदर्शन करने वाले नीतिश रेड्डी को एकादश से बाहर रहना पड़ेगा। भारत अपने खासे लंबे कद के कारण मेलबर्न की पिच से ज्यादा लाभ उठाने की कूवत रखने वाले तेज गेंदबाज प्रसिद्ध कृष्णा को खालिस चौथे गेंदबाज के रूप में खिलाने का फैसला लेता है तो उसे नीतिश रेड्डी और वाशिंगटन सुंदर दोनों को ही एकादश से बाहर रखना होगा। भारत के लिए यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या कप्तान रोहित शर्मा मेलबर्न में यशस्वी जायसवाल के साथ पारी का आगाज करते हैं या फिर पिछले दो टेस्ट की तरह छठे नंबर पर खेलेंगे। बहुत उम्मीद यही है कि रोहित छठे नंबर ही खेलेंगे। रोहित और ऋषभ पंत के लिए मध्यक्रम में अपने चिर परिचित आक्रामक में ही बल्लेबाजी करना इन दोनों और भारत के लिए बेहतर विकल्प होगा।

बेशक भारत की ताकत उसकी शीर्ष क्रम की बल्लेबाजी है लेकिन अब मध्यक्रम में खेल रहे खुद कप्तान रोहित शर्मा और अपनी नैसर्गिक आक्रामक शैली की बल्लेबाजी पर यकीन करने वाले विकेटकीपर ऋषभ पंत को खुद पर भरोसा कर जोश के साथ थोड़े होश से बल्लेबाजी की जरूरत होगी। भारत के लिए अच्छी बात है निचले क्रम में बल्लेबाजी ऑलराउंडर नीतिश रेड्डी और बाएं हाथ के स्पिन ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा ने पिछले मैच में पहली पारी में अच्छा अर्द्धशतक जड़ा है। वहीं शुभमन गिल को अपने रक्षण को मजबूत रखते हुए ऑस्ट्रेलिया के कमिंस, स्टार्क और बोलैंड जैसे तेज गेंदबाजों को खेलन ज्यादा बेहतर विकल्प होगा। ऋषभ पंत निर्विवाद रूप से नैसर्गिक खिलाड़ी हैं लेकिन उन्हें भी कम से क्रीज पर उतरने के शुरू के आधे घंटे जरूर खुद बड़े स्ट्रोक खेलने से बचना बेहतर होगा। ऋषभ पंत पर आधा घंटा गुजारने के बाद ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों की लय बिगाड़ने का दम रखते है।

चोट के चलते पहले ही बाहर हो चुके तेज गेंदबाज जोश हेजलवुड की जगह ऑस्ट्रेलिया की एकादश में तेज गेंदबाज स्कॉट बोलैंड और टीम से बाहर किए गए नाथन मैक्सिवनी की जगह शामिल 19 बरस के सैम कोंस्टाज का ऑस्ट्रेलिया के लिए टेस्ट करियर का आगाज पक्का है। वहीं भारत के लिए मौजूदा टेस्ट टेस्ट सीरीज के पिछले दो टेस्ट में लगातार शतक जड़ने वाले ट्रेविज हेड के फिट हो खेलने को लेकर मेजबान टीम के हेड कोच एंड्रयू मैकडॉनल्ड ने भले ही खेलने की उम्मीद जताई लेकिन इसकी संभावना बेहद कम है। हेड यदि फिट न होने के कारण नहीं खेले और अपने टेस्ट करियर का आगाज करने वाले सैम कोंस्टाज सहित भारत के तुरुप के इक्के जसप्रीत बुमराह के सामने बुरी तरह नाकाम सलामी बल्लेबाज उस्मान ख्वाजा सहित के पूरी तरह बिखरने की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता है। ऑस्ट्रेलिया क्रिकेटर मैदान पर स्लेजिंग कर प्रतिद्वंद्वी टीम के क्रिकेटरों की एकाग्रता भंग करने का खेल खूब खेलते रहे हैं। दिलचस्प बात यह है कि भारत के ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा ने केवल हिंदी में सवालों का जवाब देकर ऑस्ट्रेलिया के लिए ‘12 वें खिलाड़ी’की भूमिका निभाने वाले उसके पक्षपाती मीडिया की ऐसी स्लेजिंग की है जिसकी टीस वह और ऑस्ट्रेलियाई टीम बहुत महसूस कर रही है। भारत को अपने पसंदीदा मेलबर्न के मैदान पर चौथा टेस्ट जीत सीरीज में 2-1 की अहम बढ़त लेनी है तो बल्लेबाजी में उसके शीर्ष क्रम के साथ उसकी तुरुप के इक्के तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह का बाकी साथी गेंदबाजों को शिद्दत से साथ निभाना होगा।मेलबर्न पर बॉक्सिंग डे पर शुरू हो रहे चौथे टेस्ट में पिच क्यूरेटर पेज ने नई ड्रॉप इन पिच बिछाई है औा इस पर तेज गेंदबाज स्कॉट बोलैंड के मातर् सात रन देकर चटकाए छह विकेट की बदौलत ऑस्ट्रेलिया ने पहली पारी में 267 रन बनाने के बावजूद इंग्लैंड को टेस्ट में पारी से हराया था। सच तो मेलबर्न पर दोनों टीमों के बल्लेबाजों के लिए रन बनाना बड़ी चुनौती होगा। भारत के लिए खासतौर पर जसप्रीत बुमराह और ऑस्ट्रेलिया के लिए मिचेल स्टार्क और कप्तान पैट कमिंस ने बल्लेबाजों के लिए खासी दिक्कतें पेश की है। पर्थ में पहले टेस्ट में यशस्वी जायसवाल और विराट कोहली ने शतक जड़ भारत को जीत दिलाई लेकिन इसके बाद अगले दो टेस्ट मैच में केएल राहुल को छोड़ कर मेहमान टीम के बल्लेबाजों को रनों के लिए जूझना पड़ा है। चोट के कारण पर्थ टेस्ट से बाहर करने के बाद शुभमन गिल ने दूसरे टेस्ट में बढ़िया आगाज किया लेकिन फिर अचानक क्षणिक एकाग्रता खो अपना विकेट बड़ा स्कोर बनाने का मौका गंवाया है। खुद रनों के लिए जूझ रहे भारत के कप्तान रोहित शर्मा ने यशस्वी, शुभमन और विराट कोहली पर पूरा भरोसा जताया है कि ये तीनों रन बनाने की राह तलाश लेंगे